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IGNOU BHDF-101 Code Details
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University
IGNOU (Indira Gandhi National Open University)
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Title
हिंदी में आधार पाठ्यक्रम
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Language(s)
Hindi
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Code
BHDF-101
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Subject
Hindi
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Degree(s)
BA, B.COM, B.Sc., BTS
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Course
Foundation Courses (FC)
IGNOU BHDF-101 Hindi Topics Covered
Block 1 - भाषा तत्व और बोधन
- Unit 1 - हिन्दी की लिपि और वर्तनी का परिचय
- Unit 2 - हिन्दी की ध्वनियाँ
- Unit 3 - विज्ञान के विषय का बोधन
- Unit 4 - संस्कृति विषय का बोधन और शब्दकोश का उपयोग
- Unit 5 - समाज विज्ञान विषय का बोधन और निबंध रचना का परिचय
- Unit 6 - भाषण शैली
Block 2 - वाचन और विविध विषय
- Unit 1 - सामाजिक विज्ञानों की भाषा (इतिहास के संदर्भ में) तथा वर्तनी के कुछ नियम
- Unit 2 - सामाजिक विज्ञानों की भाषा (राजनीति विज्ञान) तथा शब्द रचना
- Unit 3 - मानविकी की भाषा (ललित कला) तथा विशेषण
- Unit 4 - विज्ञान की भाषा तथा पारिभाषिक शब्द
- Unit 5 - विज्ञान की भाषा का स्वरुप
- Unit 6 - विधि एवं प्रशासन की भाषा तथा पारिभाषिक शब्द और अर्थ
Block 3 - साहित्य का आस्वादन
- Unit 1 - कहानी: पूस की रात (प्रेमचंद)
- Unit 2 - व्यंग्य निबंध: वैष्णव की फिसलन (हरिशंकर परसाई)
- Unit 3 - एकांकी: ‘बहुत बड़ा सवाल' (मोहन राकेश)
- Unit 4 - निबंध: जीने की कला (महादेवी वर्मा)
- Unit 5 - आत्मकथा: जूठन (ओमप्रकाश वाल्मीकि)
- Unit 6 - कविताएँ
Block 4 - व्यावहारिक हिंदी और लेखन
- Unit 1 - शब्द और मुहावरे
- Unit 2 - संवाद शैली
- Unit 3 - सरकारी पत्राचार तथा टिप्पण और प्रारूपण
- Unit 4 - समाचार लेखन और संपादकीय
- Unit 5 - अनुवाद
- Unit 6 - संक्षेपण, भाव पल्लवन और निबंध लेखन
Buy BHDF-101 Help Book IGNOU BHDF-101 (July 2021 - January 2022) Assignment Questions
1. निम्नलिखित मुहावरों का अर्थ स्पष्ट करते हुए उनका वाक्य में प्रयोग कीजिए :
(क) घड़ों पानी पड़ जाना
(ख) मन में लड्डू फूटना
(ग) ईद का चाँद होना
(घ) डींग मारना
(ङ) बात का बतंगड़ बनाना
2. निम्नलिखित शब्दों के मेल से बनने वाले शब्द बनाइए
(क) उत् + कर्ष
(ख) जगत् + नाथ
(ग) दिक् + गज
(घ) विद्या + आलय
(ङ) जगत् + ईश
3. निम्नलिखित शब्दों के दो पर्यायवाची शब्द बताइए :
(क) सूरज
(ख) तालाब
(ग) रात
(घ) पक्षी
(ङ) चन्द्रमा
4. निम्नलिखित शब्दों के विलोम शब्द बनाइए:
(क) आकाश
(ख) सबल
(ग) शांत
(घ) हानि
(ङ) संतुष्ट
5. निम्नलिखित शब्दों के संधि-विच्छेद कीजिए :
(क) उच्चारण
(ख) सच्चरित्र
(ग) उन्नति
(घ) सन्मार्ग
(ड) उद्भव
6. निम्नलिखित शब्दों में उपसर्ग बताइए :
(क) सुप्रभात
(ख) बेचैन
(ग) नापसंद
(घ) लाचार
(ड) बेमिसाल
7. निम्नलिखित शब्दों में प्रत्यय बताइए :
(क) लकड़हारा
(ख) आज्ञाकारी
(ग) मिठाई
(घ) दुखदायी
(ङ) चिकनाहट
8. निम्नलिखित प्रत्येक प्रश्न का उत्तर 250-300 शब्दों में लिखिए :
(क) 'बहुत बड़ा सवाल' एकांकी में मोहन राकेश क्या कहना चाहते हैं?
(ख) 'जूठन' की अंतर्वस्तु पर अपने विचार व्यक्त कीजिए|
9. निम्नलिखित पद्यांशों का भावार्थ अपने शब्दों में लिखिए :
(क) वह तोड़ती पत्थर।
देखा उसे मैंने इलाहाबाद के पथ पर
वह तोड़ती पत्थर
कोई न छायादार
पेड़ वह जिसके तले बैठी हुई स्वीकार
श्याम तन, भर बंधा यौवन
नत नयन, प्रिय कर्म रत मेन
(ख) सखि, नीलनभस्सर में उतरा
अब तारक-मौक्तिक शेष नहीं,
यह हंस अहा! तिरता तिरता तिरता
निकला जिनको चरता-चरता
10. निम्नलिखित में से किसी एक विषय पर 300 शब्दों में निबंध लिखिए।
(क) प्रदूषण की समस्या
(ख) संयुक्त परिवार
(ग) हिंदी भाषा
11. अपनी कॉलोनी में कूड़े-फेंकने की समस्या के समाधान हेतु संबंधित अधिकारी को पत्र लिखिए।
12. 'पराधीन सपने हैं सुख नाहीं का भाव-पल्लवन कीजिए।
13. निम्नलिखित गद्यांश को पढ़िए और इसके आधार पर नीचे दिये गए प्रश्नों के उत्तर दीजिए :
पाषण-युग के खत्म होने के पहले की दुनिया की आबोहवा बदल गई और उसमें गर्मी आ गई। बर्फ के पहाड़ अब उत्तरी सागर तक ही रहते थे और मध्य-एशिया और यूरोप में बड़ेबड़े जंगल पैदा हो गए। इन्हीं जंगलों में आदमियों की एक नई जाति रहने लगी। ये लोग बहुत-सी बातों में पत्थर-युग के आदमियों से ज्यादा होशियार थे। लेकिन वे भी पत्थर के ही औजार बनाते थे। ये लोग भी पत्थर ही के युग के थे; मगर वह पिछला पत्थर का युग था, इसलिए वे नए पत्थर युग के आदमी कहलाते थे।
गौर से देखने से मालूम होता है कि नए पत्थर-युग के आदमियों ने बड़ी तरक्की कर ली। थी। आदमी की अक्ल और जानवरों के मुकाबले में उसे तेजी से बढ़ाए लिए जा रही है। इन्हीं नए पाषाण-युग के आदमियों ने एक बहुत बड़ी चीज निकाली। वह खेती करने का तरीका था। उन्होंने खेतों को जोतकर खाने की चीजें पैदा करनी शुरू की। उसके लिए यह बहुत बड़ी बात थी। अब उन्हें आसानी से खाना मिल जाता था, इसकी जरूरत न थी कि वे रात-दिन जानवरों का शिकार करते रहें। अब उन्हें सोचने और आराम करने की ज्यादा फुर्सत मिलने लगी और उन्हें जितनी ही ज्यादा फूर्सत मिलती थी, नई चीजें और तरीके निकालने में वे उतनी ही ज्यादा तरक्की करते थे। उन्होंने मिट्टी के बर्तन बनाने शुरू किए और उनकी मदद से खाना पकाने लगे। पत्थर के औजार भी अब ज्यादा अच्छे बनने लगे और उन पर पॉलिश भी अच्छी होने लगी। उन्होंने गाय, कुत्ता, भेड़, बकरी वगैरह जानवरों को पालना सीख लिया और वे कपड़े भी बुनने लगे।
(क) दुनिया की आबोहवा कब बदल गई?
(ख) कौन बहुत सी बातों में पत्थर-युग के आदमियों से ज्यादा होशियार थे।
(ग) पाषाण-युग के आदमियों ने कौन चीज निकाली?
(घ) पाषाण-युग के लोगों को कब और क्यों ज्यादा सोचने और आराम करने की फुर्सत मिलने लगी?
(ङ) पाषाण-युग के लोग कब तरक्की करने लगे?
IGNOU BHDF-101 (July 2020 - January 2021) Assignment Questions
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